*देहरादून । मुख्य सचिव श्री आनन्द बर्द्धन द्वारा समस्त प्रमुख सचिवों, सचिवों, विभागाध्यक्षों एवं जिलाधिकारियों को स्वयं सहायता समूहों को बढ़ावा देने के लिए उनके द्वारा निर्मित उत्पादों का उपयोग किए जाने के निर्देश दिए गए हैं। इस बावत जारी अपने पत्र के माध्यम से उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन के अंतर्गत गठित स्वयं सहायता समूहों द्वारा ग्रामीण क्षेत्रों में उद्यमिता एवं आजीविका संवर्धन हेतु विभिन्न गतिविधियां संचालित की जा रही हैं। महिला समूहों द्वारा खाद्य प्रसंस्करण, कैंटीन संचालन आदि क्षेत्रों में कार्य किया जा रहा है तथा यह महिलाएं खाद्य सुरक्षा एवं स्वच्छता मानकों का अनुपालन करते हुए गुणवत्तापूर्ण सेवाएं प्रदान कर रही हैं।

मुख्य सचिव ने निर्देश दिए हैं कि राज्य, जनपद एवं विकास खण्ड स्तर पर आयोजित सभी शासकीय/अर्ध-शासकीय बैठकों, कार्यक्रमों एवं अन्य समारोह के आयोजनों में कैटरिंग सम्बन्धी आवश्यकताओं हेतु यथासम्भव महिला स्वयं सहायता समूहों का सहयोग लिया जाए एवं उन्हें प्राथमिकता प्रदान की जाए, जिसके लिए परियोजना निदेशक अथवा सहायक परियोजना निदेशक, ग्राम्य विकास से सम्पर्क किया जा सकता है। उन्होंने जनपद स्तर पर आने वाले विशिष्ट अतिथियों, महानुभावों के स्वागत कार्यक्रमों के स्मृति-चिन्ह इत्यादि हेतु स्वयं सहायता समूहों द्वारा निर्मित स्थानीय हस्तशिल्प उत्पादों अथवा हाउस ऑफ हिमालयाज ब्रांड के उपहार प्रदान किए जाने पर जोर दिया।

मुख्य सचिव ने निर्देश दिए हैं कि राज्य, जनपद एवं विकासखण्ड स्तर पर आयोजित होने वाले कार्यक्रमों, कार्यशालाओं, प्रशिक्षण कार्यक्रमों एवं बैठकों में जलपान व्यवस्था हेतु स्वयं सहायता समूहों द्वारा उत्पादित मिलेट उत्पाद एवं स्थानीय पोषक उत्पादों को प्रमुखता से प्रयोग में लाया जाए। उन्होंने कहा कि विभागों के समस्त सरकारी परिसरों में कैंटीन/आउट्लेट आदि के संचालन हेतु स्वयं सहायता समूहों को प्राथमिकता दी जाए। उन्होंने यह भी निर्देश दिए कि इसके लिए वित्त विभाग द्वारा प्रचलित अधिप्राप्ति नियमावली के अनुरूप स्वयं सहायता समूहों के साथ क्रय-विक्रय किया जाए।

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