*पर्यावरण सुरक्षित होगा तभी बचेगा भविष्य : लोकेंद्र*

-संघ शताब्दी विजयदशमी कार्यक्रम में किया पर्यावरण के प्रति जागरूक

-दिवंगत स्वयंसेवको की चित्र प्रदर्शनी को देख परिजन हुए भावविभोर

 *हरिद्वार* राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ हरिद्वार नगर की हरकी पौड़ी बस्ती द्वारा मायादेवी मन्दिर प्रांगण में संघ शताब्दी विजयदशमी उत्सव बड़ी धूमधाम से मनाया गया। कार्यक्रम में बड़ी संख्या में कई पीढ़ियों के स्वयंसेवक उपस्थित रहे। हरिद्वार नगर में संघ की शाखाओं का प्रारम्भ मन्दिर शाखा से होने के कारण स्वयंसेवको में जोश उत्साह देखते ही बन रहा था। भारत माता के चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित कर शस्त्र पूजन किया गया। उत्सव में दिवगंत स्वयंसेवकों के चित्रों की प्रदर्शनी लगाई गई थी। इसके उपरांत स्वयंसेवको ने पथ संचलन किया।

इस अवसर पर हरिद्वार विभाग कार्यवाह लोकेंद्र जी ने संघ की 100 वर्षो की गौरव गाथा पर प्रकाश डालते हुए हरिद्वार मन्दिर शाखा के 83 वर्ष पूर्व होने पर तथा विजयदशमी की शुभकामनाएं दी। उन्होंने कहा कि हम सब सौभाग्यशाली हैं, हम पर प्रभु की कृपा है कि हम स्वयंसेवक बने और संघ के इस संघ के शताब्दी वर्ष को एक उत्सव में बदलने का यह सौभाग्य हम सबको प्राप्त हो रहा है। कई बार विचार आता है कि पूज्य डॉक्टर हेडगवार जी ने विजयदशमी के दिन ही राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की स्थापना की थी इसलिए विजयदशमी का यह दिन हम सबके लिए बहुत महत्वपूर्ण हो जाता है। विजयदशमी प्रतीक है बुराई पर अच्छाई की जीत अधर्म पर धर्म की जीत का। दशहरे पर रावण को जलते हुए हमने देखा है और रावण का जो शाब्दिक अर्थ है कि जितने भी बुराइयां हैं जितने भी अत्याचार हैं जितने भी दुराचार हैं उन पर का समूचा नशा कर विजय प्राप्त करना है। उन्होंने बताया कि इसी तरह संघ भी 100 वर्षो से समाज मे फैली बुराइयों के खिलाफ दृढ़ता से खड़ा है। संघ ने 100 वर्ष पूर्ण होने पर समाज परिवर्तन के लिए पंच परिवर्तन का संकल्प लिया है। इसके अंतर्गत सामाजिक समरसता, नागरिक कर्तव्यों के पालन, स्वाधारित जीवनशैली, पर्यावरण संरक्षण और आर्थिक आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देने का प्रयास किया जाएगा।

उन्होंने कहा कि पर्यावरण संरक्षण हमारे जीवन के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है। यह हमारे जीवन को स्वस्थ और सुरक्षित बनाने में मदद करता है। पर्यावरण संरक्षण के बिना, हमारा भविष्य खतरे में पड़ सकता है।पर्यावरण संरक्षण के लिए सामूहिक प्रयास की आवश्यकता है। हमें सभी को मिलकर पर्यावरण संरक्षण के लिए काम करना होगा।

कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए श्रीमायादेवी मन्दिर के मुख्य पुजारी महंत भाष्कर गिरी ने कहा सनातन सँस्कृति को बचाने का जो काम संघ कर रहा है वह सहरानीय है। भगवा हमारी पहचान है, हिन्दू सँस्कृति परम्पराओं का प्रतीक है।

इसके उपरन्त स्वयंसेवको ने पथ संचलन निकला जो कि भागर्व वाली गली से निकल कर रेलवे रोड,पोस्ट ऑफिस, अपर रोड से होते हुए हरकी पौड़ी, नाई सोता,बड़ा बाजार,गऊ घाट,मोती बाजार,सब्जी मंडी,विष्णुघाट,भोलागिरी मार्ग होता हुआ पुनः मायादेवी मन्दिर प्रांगण में सम्पन्न हुआ। इस दौरान जगह जगह स्वयंसेवको पर पुष्प वर्षा हुई तथा दिवंगत स्वयंसेवकों की स्मृति में बाजारों में सुंदर गेट सजाए गए थे। मोती बाजार ठंडे कुएं पर ढोल नगाड़ों व शंखनाद से स्वयंसेवको का स्वागत किया गया। इस अवसर पर नगर कार्यवाह डॉ.अनुराग,सह कार्यवाह अभिषेक व बलदेव,शारीरिक प्रमुख उमेश, अर्पित,प्रचार प्रमुख अमित शर्मा, दीपक भारती,संजीव दत्ता,गौरव भारद्वाज,मनीष, विशाल,आशुतोष शर्मा,डॉ. संदीप कपूर,डॉ प्रशांत पालीवाल,नागेश वर्मा,प्रदीप कालरा आदि मुख्य थे।

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